एपल कंप्यूटर के संस्थापक स्टीव जोब्स को सेब बहुत पसंद थे। उनको अपनी कंपनी का नाम नत्थी कराने में तीन महीने का विलम्ब हो गया .जब उनके साथी कोई वाजिब नाम नहीं सुझा पाए तो उन्होंने अपनी कंपनी का नाम रखा एप्पल कम्प्यूटर्स।
CISCO सुनने से लगता है किसी का परिवर्णी शब्द होगा पर वास्तव में यह सान फ्रांसिस्को से लिया गया है।
LOTUS का नाम लिया गया है योग के पद्मासन यानी लोटस मुद्रा से।
माइक्रोसॉफ्ट बना है माइक्रोकमप्यूटर और सॉफ्टवेर के हिस्सों को जोड़कर ।
मोटोरोला के पाल गल्विन ने कारों के लिए रेडियो बनाने शुरू किए और उस समय की लोकप्रिय कम्पनी वित्रोला के नाम पर रख दिया मोटोरोला।
गूगल का नाम इस विचार से बना की इससे कितनी जानकारी खोजी जा सकती है.शायद गूगोल यानी की १ के बाद सौ शून्य.जब सेर्गे बरीं और लैरी पेज ने एक निवेशक को यह प्रोजेक्ट बताया तो उन्हें चेक मिला गूगल के नाम से और गूगल महाराज के क्या कहने !
याहू बनाया था गलिवार्स ट्रेवलस के प्रसिद्ध लेखक जोनाथन स्विफ्ट ने उन जीवों के लिए जो देखने में अरूचिकर हैं और जिन्हें मुश्किल से मनुष्य कहा जा सकता था। याहू के प्रवर्तकों जेरी यांग और डेविड फिलो का मानना था की वे याहू हैं!
ह्यूलेट पैकर्ड के संस्थापक बिल ह्यूलेट और डेव पैकर्ड ने सिक्का उछाल कर इस बात का निर्णय कर लिया की कम्पनी का नाम ह्यूलेट पैकर्ड हो या पैकर्ड ह्यूलेट .और कौन जीता यह तो पता ही है!
6 टिप्पणियां:
वाह ! ये रोचक जानकारियाँ मेरे लिए नईं थीं।
मनीष कुमार
बड़ी अच्छी जानकारी दी आपने. हम लोगो ने मिलकर एक समूह बनाया है जानकारी. अगर आप इच्छुक हों तो इसमे शामिल हो
http://groups.google.com/group/jaankari?hl=en
अच्छी रोचक जानकारी दी..शायद कुछ भ्रम टूटे. :)
रोचक जानकारी है ।
घुघूती बासूती
एक अच्छी ओर रोचक जानकारी के लिये धन्यवाद.
प्लीज़, किसी ग्रुप में शामिल न होइएगा.. हमारे ग्रुप में भी नहीं..
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